मुंबई हादसा : 1 लेटर और 100 से ज्यादा ट्वीट रेलवे मंत्रालय को चेताते रहे, सुना जाता तो टल सकती थी मौतें...
एक ऐसा शहर जहां जल्द ही बुलेट ट्रेन चलनी शुरू हो जाएगी, वहां रेलवे स्टेशन पर पुल पार करना तक सुरक्षित नहीं है! ऐसा ही कुछ कह रहे हैं वे लोग जो शुक्रवार को मुंबई में परेल-एलफिंस्टन स्टेशन के पास बने पुल पर ज्यादा भीड़ की वजह से मची भगदड़ से परोक्ष या प्रत्यक्ष रूप से प्रभावित रहे. इस हादसे में 22 लोगों की मौत हो गई जबकि 30 से अधिक घायल हो गए.
परेल-एलफिंस्टन स्टेशन के पास बना यह पुल दशकों पुराना है और पिछले काफी समय से इसे लेकर चेतावनी दी जा रही थी. साल भर पुराने ट्वीट्स जिनमें तत्कालीन रेल मंत्री सुरेश प्रभु को टैग किया है और साथ ही रेल मंत्रालय को भी टैग किया हुआ है, बताते हैं कि इस पुल को लेकर काफी समय से अंदेशे जताए जा रहे थे और इसे ठीक करने की मांग की जा रही थी लेकिन समुचित एक्शन न लिए जाने के कारण अंतत: हादसा हो ही गया.
पिछले चार सालों में भीड़भाड़ वाले इस पुल पर संभावित हादसे को लेकर 100 से ऊपर ट्वीट किए गए. लोगों में गुस्सा ज़्यादा इसलिये भी है कि ये हादसा रोका जा सकता था..अगर सरकार लोगों की शिकायतों पर ध्यान देती.
@sureshpprabhu@narendramodi Is central mumbai station 'Parel' awaiting a stampede? pic.twitter.com/hMhUm4wgJ3
— Chandan KK (@CKSquare) 28 July 2016
बताया जा रहा है कि इस पुल पर बढ़ते बोझ की शिकायत पुरानी थी और ये अंदेशा भी कि कोई हादसा हो सकता है. शुक्रवार को भारी बारिश के बीच भीड़ एक साथ आई और भगदड़ मच गई. पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि यह हादसा सुबह दस बजकर करीब चालीस मिनट पर हुआ. उस वक्त भारी बारिश हो रही थी और फुटओवर ब्रिज पर खासी भीड़ थी. यह पुल एल्फिंस्टन रोड और परेल उपनगरीय रेलवे स्टेशनों को जोड़ता है. बारिश से बचने के लिए बड़ी संख्या में लोग एकत्र हो गए थे. लाखों लोग क्षेत्र में स्थित कार्पोरेट और मीडिया कार्यालयों के साथ ही व्यावसायिक केंद्रों तक पहुंचने के लिए इस पुल का उपयोग करते हैं.
If any @IndianRailUsers dies coz of stampede Parel station, who would be rspnbl 4his death? @sureshpprabhu@PMOIndiapic.twitter.com/4KuP5tmSVu
— Aditya Jadhav, CFA (@AdityaJadhav_) 18 October 2016
बड़ी संख्या में लोग सीढ़ियों और दशकों पुराने इस संकरे पुल पर फंस गए. इससे कई लोगों की मौत दम घुटने के कारण भी हो गयी. नीचे प्लेटफार्म पर खड़े लोग बेबस होकर हादसा देख रहे थे. कई लोगों ने रेलिंग पर चढ़कर अपनी जान बचाने का प्रयास किया.
इस रास्ते पर वर्षों से यात्रा कर रहे किशोर ठक्कर ने कहा कि उस समय भारी बारिश हो रही थी और लोग जल्दी से पुल से उतरने का प्रयास कर रहे थे. वहीं ट्रेनों से उतरने वाले यात्री पुल पर चढ़ने की कोशिश कर रहे थे. उन्होंने कहा, ‘हमने छह महीने पहले ही रेलवे प्रशासन को एक पत्र सौंपकर यहां की खराब स्थिति को सुधारने के लिए कुछ कदम उठाने का अनुरोध किया था.’
मुआवजे की घोषणा
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने हादसे पर शोक जताते हुए मारे गए लोगों के परिजनों के प्रति संवेदनाएं व्यक्त की हैं. मृतकों के परिजनों के लिए 10-10 लाख रुपये के मुआवजे की घोषणा की गयी है. रेल मंत्री पीयूष गोयल और महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेन्द्र फडणवीस ने पांच-पांच लाख रुपये की मुआवजा राशि की घोषणा की है.
रेल मंत्री ने किया मुआवजे का ऐलान, जांच के आदेश दिए
हादसे को लेकर रेलमंत्री पीयूष गोयल ने उच्च स्तरीय जांच के आदेश दिए हैं. उन्होंने ट्वीट किया है, अभी मुंबई पहुंचा हूं. एल्फिंस्टन रोड फुटओवर ब्रिज पर मची दुर्भाग्यपूर्ण भगदड़ में मासूम जिंदगियों के नुकसान से शोक संतप्त हूं. उन्होंने लिखा है, शोक संतप्त परिवारों के प्रति मेरी गहरी संवेदनाएं. मैं घायलों के जल्दी स्वस्थ्य होने की प्रार्थना करता हूं.
रेल मंत्री ने मृतकों के परिजन को पांच लाख रुपये, गंभीर रूप से घालयों को एक लाख रुपये और अन्य घायलों को 50,000 रुपये सहायता राशि देने की घोषणा की.